हरित, औद्योगिक व पर्यटन क्रांति से दूर होगी गरीबी व बेरोजगारी – उद्योग मंत्री श्री शुक्ल

उद्योग मंत्री श्री शुक्ल ने ईको पर्यटन स्थल का किया लोकार्पण
वैष्णोधाम से जाना जायेगा पर्यटन स्थल
हरित, औद्योगिक व पर्यटन क्रांति से दूर होगी गरीबी व बेरोजगारी – श्री शुक्ल

उद्योग मंत्री श्री राजेन्द्र शुक्ल ने आज सिरमौर क्षेत्र में स्थित वैष्णोधाम में 35 लाख रूपये से स्थापित ईको पर्यटन स्थल का लोकार्पण किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि हरित क्रान्ति, औद्योगिक क्रान्ति एवं पर्यटन क्रान्ति से ही गरीबी एवं बेरोजगारी दूर होगी। इस मौके पर पूर्व मंत्री गरूण मिश्र, सिरमौर क्षेत्र के विधायक दिव्यराज सिंह, अवध बिहारी शुक्ल, नगर पालिका अध्यक्ष श्रीमती चौरसिया, प्रज्ञा त्रिपाठी, रविराज विश्वकर्मा, सर्वेश सोनी, बालेन्दु शेखर चतुर्वेदी, कुबेर प्रसाद अग्निहोत्री, लक्ष्मण सोनी, गौसंवर्धन बोर्ड के उपाध्यक्ष राजेश पाण्डेय, वनमण्डाधिकारी विपिन पटेल, अनुविभागीय अधिकारी श्री गहरवार सहित जनप्रतिनिधि एवं ग्रामीणजन उपस्थित थे।
मंत्री श्री शुक्ल ने कहा कि उनका वर्षो पुराना सपना था कि इस स्थल को पर्यटन मानचित्र में शामिल कराया जाये जो आज साकार रूप ले रहा है। रीवा के विश्व स्तरीय व्हाइट टाइगर सफारी, चचाई फाल, पुर्वाफाल, क्योटी फाल एवं सिरमौर स्थित वैष्णों धाम फाल को कारीडोर के रूप में विकसित किया जायेगा। ताकि देशी एवं विदेशी पर्यटक इस क्षेत्र में आकर व्हाइट टाइगर सफारी के साथ इन जल प्रपातों का भी आनन्द ले सकें। पर्यटकों के आने से इस क्षेत्र में होटल एवं रेस्टोरेन्ट खुलेंगे तथा क्षेत्रीय लोगों को रोजगार प्राप्त होगा।
मंत्री श्री शुक्ल ने कहा कि भारत माला के अन्तर्गत सिरमौर, सेमरिया सतना एवं शंकरगढ़ तक गुणवत्ता पूर्ण फोरलेन सड़क का निर्माण किया जा रहा है। प्रधानमंत्री श्री मोदी की उड़ान योजना के अन्तर्गत रीवा जिले को भी शामिल किया गया है। इस योजना के अन्तर्गत हवाई चप्पल पहनने वाला आम नागरिक भी दो हजार रूपये व्यय कर हवाई जहाज की यात्रा करेगा।
उन्होंने कहा कि सिरमौर में स्थित वैष्णों धाम सुरम्य वादियों के बीच स्थित है। यहां पर अत्यन्त मनोरम जल प्रपात पर्यटको को आनन्दित करेगा। यहां पर कल्चुरीकालीन प्राचीन शिव मंदिर के दर्शन कर आनन्द की अनुभूति होती है। यह स्थल महर्षि बाल्मीकी की तपस्या स्थली रहा है, सीता माता वनवास के समय इसी क्षेत्र में रही हैं। लव-कुश की जन्म स्थली के रूप में प्रमाण मिलते हैं। वन विभाग एवं ईको टूरिज्म द्वारा यहां पर 35 लाख रूपये की लागत से रेलिंग, सीढ़ियों, पेयजल एवं प्रसाधन की सुविधा विकसित की गई है। मंत्री श्री शुक्ल ने कहा कि यदि प्रकृति की सुन्दरता को अत्यन्त नजदीक से देखना हो और प्राकृतिक छटाओं का आनन्द लेना हो तो पर्यटकों को यहीं आना चाहिये।
विधायक दिव्यराज सिंह ने कहा कि इस परिसर में कच्चुरीकालीन मंदिर स्थापित है। एक ही पत्थर में शिवलिंग जलहरी एवं नागराज विराजे हैं। यह क्षेत्र प्राकृतिक सुन्दरता एवं धार्मिक स्थल का मिश्रण है। पूर्व में यहां पर शेर को चहलकदमी करते हुये देखा गया है। उन्होंने कहा कि सिरमौर क्षेत्र के चंहुमुखी विकास के लिये वे प्रतिबद्ध हैं। यहां सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र का उन्नयन कर सिविल अस्पताल बना दिया गया है। यहां पर आल्हाधार को भी विकसित करने की योजना है।
वनमण्डाधिकारी विपिन कुमार पटेल ने कहा कि आने वाले पर्यटकों का कर्तव्य है कि इस क्षेत्र को स्वच्छ एवं साफ-सुथरा रख कर प्राकृतिक सुदरता का आनन्द लें।
घिनौची धाम हुआ वैष्णोंधाम – स्थानीय ग्रामीणों की मांग पर उद्योग मंत्री श्री शुक्ल ने घिनौची धाम का नाम बदलकर वैष्णों धाम रख दिया है। उल्लेखनीय है कि पूर्व में इस स्थल को घिनौची धाम के नाम से जाना जाता था।

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