सभी तरह के आतंकवाद से मिलकर लड़ेंगे भारत-अमेरिका

अमेरिकी रक्षा मंत्री जेम्स मैटिस तीन दिन के भारत दौरे पर हैं। उन्होंने रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण से मुलाक़ात की। दोनों देशों के बीच डेलिगेशन स्तर की बातचीत भी हुई।

हाल के कुछ सालों में भारत और अमेरिका के रक्षा संबंध काफी प्रगाढ़ हुए हैं। इन्हीं संबंधों को और गति देने के लिए अमेरिकी रक्षा मंत्री जेम्स मैटिस तीन दिन की भारत की यात्रा पर हैं। जेम्स मैटिस ने गुरुवार को रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण के साथ द्विपक्षीय रक्षा संबंधों समेत व्यापक विषयों पर चर्चा की। दोनों नेताओं के बीच बातचीत में रक्षा संबंधों को और मज़बूत करने के तौर-तरीकों के साथ ही आतंकवाद को बढ़ावा दे रहे पाक तथा अफ़ग़ानिस्तान से जुड़े अहम मुद्दों पर भी चर्चा हुई। इस दौरान भारत ने साफ़ किया कि वह अफ़ग़ानिस्तान में शांति की कोशिशें जारी रखेगा लेकिन वहां अपने सैनिक नहीं भेजेगा।
अमेरिका ने अफ़ग़ानिस्तान में भारत के योगदान की सराहना की और उम्मीद जताई कि वो आगे भी वहां लोकतंत्र, शांति और सुरक्षा को बढ़ाने के लिए काम करता रहेगा।  दोनों नेताओं की वार्ता में आतंकवाद का मसला प्रमुखता से उठा।  दोनों ही देशों ने इस बात पर ज़ोर दिया कि जो देश आतंकवाद को अपनी राष्ट्र नीति के उपकरण के तौर पर इस्तेमाल करते हैं उनको ज़िम्मेदार ठहराया जाए और उस आधारभूत ढांचे को नष्ट किया जाए जो आतंकवाद का समर्थन करता है। मैटिस ने भी कहा कि भारत और अमेरिका ने आतंकवाद की वजह से बहुत कुछ खोया है और इसलिए हम आतंकवाद का खात्मा करने के लिए भारत के साथ काम करने का इरादा रखते हैं।
सीतारमण ने कहा कि मैटिस पाकिस्तान की यात्रा के दौरान वहां की धरती पर फल-फूल रहे आतंकवाद का मुद्दा उठाएंगे।
दोनों देशों ने हिंद महासागर के साथ ही व्यापक एशिया-प्रशांत क्षेत्र में समुद्री सुरक्षा और क्षेत्रीय कनेक्टिविटी मुद्दों पर भी चर्चा की। इससे पहले मैटिस ने इंडिया गेट स्थित अमर जवान ज्योति पर पुष्पांजलि भी अर्पित की और साऊथ ब्लॉक के लॉन में सेना के तीनों अंगों की ओर से दिए जाने वाले गार्ड ऑफ ऑनर का निरीक्षण भी किया। डोनॉल्ड ट्रंप के राष्ट्रपति बनने के बाद पहली बार ट्रंप प्रशासन का कोई कैबिनेट स्तर का अधिकारी भारत आया है।

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