कांग्रेस बोले,  बम – बम भोले

कांग्रेस बोले,  बम – बम भोले

कांग्रेस मध्य प्रदेश में  जन आक्रोश यात्रा कर रही है। उसको लगता है कि वर्तमान सरकार के प्रति जनता मे आक्रोश है। ऐसे ही एक यात्रा मैंने रीवा में देखी जिसमें गीत बज रहा था कांग्रेस बोले बम – बम भोले । एक तरफ तो कांग्रेस और उसके सहयोगी हिंदुत्व तथा सनातन धर्म को खत्म करने की बात करते हैं दूसरी ओर बम बम भोले। यह बोलना बात कुछ हजम नहीं होती। कांग्रेस की समस्या उसकी दुविधा है वह किस तरफ जाए उसको समझ नहीं आ रहा। केवल मुसलमान से सरकार बनेगी नहीं न केवल ईसाइयों से हिंदुओं के दम पर बनती है तो इन सनातनियों का बहुत बड़ा भाग आज भाजपा से जुड़ चुका है। ऐसे में उनके पास सनातनियों को बाटकर और मुसलमान, इसाइयों को मिलाकर सरकार बनाने का फार्मूला है जो अभी तक सफल होता दिखाई नहीं दे रहा।
 इनके मंदिर जाने और बम बम भोले बोलने से जनता विशेष कर सनातनी उनकी और आकर्षित नहीं हो रहे हैं। कांग्रेस अगर हमेशा बम बम भोले बोलती रहती तो उसकी सरकारों का यह हश्र न होता ।क्योंकि कोई भी सरकार कितना भी अच्छा काम क्यों  न कर ले एक न एक दिन लोगों को उसमे बुराई नजर आ ही जाती है। अच्छाइयों को भूलकर केवल बुराई की बात कर कुछ समय के लिए सरकार बदल भी दी जाती है और भाजपा के साथ ऐसा हो चुका है लेकिन वर्तमान  कांग्रेस जो खुद अस्थिर चित्त है भाजपा से नाराज लोग जो आप या अन्य पार्टी की तरफ जा रहे हैं उन्हें खुद से जोड़ नही पा रही है।  आज का कांग्रेस नेतृत्व अस्थिर चित्त वाला है और सोनिया गांधी राहुल गांधी के बयान  सनातन विरोधी है साथ ही यह दोनों उन्हीं लोगों को आगे बढ़ते हैं जो सनातन का विरोध करते हैं और दूसरी तरफ चाहते हैं कि सनातनी इनको वोट दें ।
हिंदू आपस में बटे हो सकते हैं लेकिन सनातनियों का एक बड़ा हिस्सा धर्म के नाम पर एक रहता है क्योंकि सनातन सबका है इसमें अगड़ा, पिछड़ा,ऊंच नीच  नहीं रहता।
 भोलेनाथ सब के हैं अंगड़ो के पिछड़ों के और एससी एसटी के भी  इसलिए भोलेनाथ सनातनियों के साथ हैं।
 कांग्रेस बमबम भोले बोले बहुत अच्छी बात है लेकिन  जो केवल बम की बात करते हैं उनके तुष्टीकरण से भी इनको दूर होना पड़ेगा। कांग्रेस की तुष्टिकरण की राजनीति पूर्ण सफलता को कभी प्राप्त नहीं करेगी क्योंकि भाजपा ने आधी आबादी को साधने की पूरी रूपरेखा तैयार कर ली और अपने इस प्लान में भाजपा सफल भी हुई है।  केवल बम बम भोले बोलने बस से काम कांग्रेस का चलने वाला नहीं है उसको अपने कार्यों से भी यह दिखाना पड़ेगा कि वह सनातन विरोधी नहीं है। लेकिन आज तक इन्होंने ऐसा कोई प्रयास नहीं किया जिससे इनपर जो सनातन विरोधी होने का जो ठप्पा लग गया है वह  मिट सके और अगर मिट न सके तो कम से कम धूमिल तो हो सके।
 भाजपा ने खुलकर हिंदुत्व सबका साथ सबका विकास के साथ जनता के सामने रखा है। प्रधानमंत्री या इसके मुख्यमंत्री खुलकर मंदिर जाते हैं तिलक लगाते हैं और दूसरे समुदाय के क्षेत्र में जाने से पहले तिलक पोछते नहीं  जैसा कि कांग्रेसी करते हैं।
वर्तमान कांग्रेस मे वर्णसंकरी प्रथा की प्रधानता है और यहां पर ऐसे स्वभाव वाले नेताओं का ज्यादा सम्मान होता है जो वर्ण संकरी संस्कृत को बढ़ावा देने वाले रहते। कांग्रेस आज  सबको साथ लेकर चलने में अक्षम है जबकि भाजपा ने तीन तलाक जैसी कुरीतियों के खात्मे  का कानून बनाकर इसे मिटाने का कार्य किया है। इस वर्ग का भी साथ आज भाजपा को मिल रहा है ।  राम मंदिर,धारा 370 और सनातनियों के तीर्थ स्थलों का विकास भारत की आत्मा के कार्य हैं जो भाजपा कर रही है। भाजपा भोले के आशीर्वाद के साथ हर समय रहती और कांग्रेस को केवल बम बम भोले बोलने और  भोले का आशीर्वाद तभी याद आता है जब कोई चुनाव हो । उसके चरित्र का यह दोगलापन ही उसके पतन का कारण है। अगर उसे आगे बढ़ना है तो पहले उसे  इस दोगलेपन को  छोड़ना पड़ेगा तब शायद उसे भोले का आशीर्वाद भी मिल जाएं।
01 अक्टूबर 2023
अजय नारायण त्रिपाठी “ अलखू “
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