प्रदेश में एक दिन में बिजली की अधिकतम मांग एवं सर्वाधिक आपूर्ति का नया रिकार्ड बना
बिजली की मांग 11,697 मेगावाट, आपूर्ति 2355.12 लाख यूनिट
मध्यप्रदेश के इतिहास में 17 नवम्बर को बिजली की सर्वाधिक मांग एवं आपूर्ति का एक ही दिन में नया रिकार्ड बना। प्रदेश के इतिहास में बिजली की एक दिन की अधिकतम मांग 11,697 मेगावाट रही, वहीं बिजली की एक दिन की सर्वाधिक आपूर्ति 2355.12 लाख यूनिट हुई। एमपी पावर मैनेजमेंट कंपनी के प्रबंध संचालक श्री संजय कुमार शुक्ल ने बताया कि प्रदेश के बिजली इतिहास में यह पहला अवसर है, जब बिजली की सर्वाधिक मांग और आपूर्ति दोनों एक ही दिन दर्ज हुई। उन्होंने कहा कि प्रदेश में लगतार बिजली की मांग बढ़ने का मुख्य कारण-कृषि क्षेत्र में बढ़ोत्तरी और इससे सिंचाई के नए साधनों का बढ़ना, शहर के साथ ग्रामीण क्षेत्र में बसाहट का फैलाव तथा जीवन स्तर में सुधार, व्यवसायीकरण एवं औद्योगिकीकरण है।
श्री शुक्ल ने जानकारी दी कि प्रदेश में बिजली की अधिकतम मांग के रिकार्ड प्रतिदिन कायम हो रहे हैं, वहीं प्रदेश में इससे पूर्व एक दिन की सर्वाधिक बिजली आपूर्ति 20 अक्टूबर 2015 हुई थी। इस दिन प्रदेश में 2248.74 लाख यूनिट की बिजली की आपूर्ति हुई।
प्रबंध संचालक ने बताया कि प्रदेश में पिछले पाँच वर्षों में बिजली की अधिकतम मांग में 19 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज हो रही है, जबकि एक दिन की सर्वाधिक बिजली आपूर्ति में 30 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज हो रही है। उन्होंने बताया कि वर्ष 2012-13 में अधिकतम बिजली की मांग 9,804 मेगावाट थी, वहीं इसी वर्ष एक दिन की सर्वाधिक बिजली आपूर्ति 1813.12 लाख यूनिट हुई थी।
वर्ष |
अधिकतम मांग (मेगावाट में) |
एक दिन की सर्वाधिक आपूर्ति (लाख यूनिट में) |
2012-13 |
9804 |
1813.12 |
2013-14 |
9749 |
1972.85 |
2014-15 |
9870 |
2023.47 |
2015-16 |
10,841 |
2248.74 |
2016-17 |
11,431 |
2192.64 |
2017-18 (17 नवम्बर 2017) तक) |
11,697 |
2355.12 |
प्रदेश में कैसी रही बिजली की मांग-शुक्रवार को मध्यप्रदेश पश्चिम क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी (इंदौर व उज्जैन संभाग) में बिजली की अधिकतम मांग 4,976 मेगावाट, मध्यप्रदेश मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी (भोपाल व ग्वालियर संभाग) में 3,864 मेगावाट और मध्यप्रदेश पूर्व क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी (जबलपुर, सागर व रीवा संभाग) में 2,857 मेगावाट दर्ज हुई।
प्रदेश में कैसे हुई बिजली सप्लाई–प्रदेश में 17 नवम्बर को जब बिजली की मांग 11,697 मेगावाट दर्ज हुई, उस समय बिजली की सप्लाई में मध्यप्रदेश पावर जनरेटिंग कंपनी के ताप और जल विद्युत गृहों का उत्पादन अंश 2,499 मेगावाट, इंदिरा सागर-सरदार सरोवर-ओंकारेश्वर जल विद्युत परियोजना का अंश 323 मेगावाट, एनटीपीसी व डीवीसी (सेंट्रल सेक्टर) का अंश 3,013 मेगावाट, सासन अल्ट्रा मेगा पावर प्रोजेक्ट का अंशदान 1,334 मेगावाट व आईपीपी का अंश 1,293 मेगावाट रहा। बिजली बैंकिंग से 1,969 मेगावाट व अन्य स्त्रोत जिनमें नवकरणीय स्त्रोत भी शामिल हैं, से प्रदेश को 1,266 मेगावाट बिजली प्राप्त हुई।