शिक्षक विद्यार्थियों को श्रेष्ठतम बनाने की कोशिश करें – कमिश्नर डॉ. भार्गव

पांच विकासखण्डों की शैक्षिक गुणवत्ता समीक्षा बैठक आयोजित

रीवा 24 फरवरी 2020. कमिश्नर रीवा संभाग डॉ. अशोक कुमार भार्गव की अध्यक्षता में स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा ए.के.एस. विश्वविद्यालय सतना के सभागार में शैक्षिक गुणवत्ता समीक्षा बैठक आयोजित की गई। कक्षा 5वीं एवं 8वीं की परीक्षा के संदर्भ में आयोजित इस समीक्षा बैठक में सोहावल, रामपुर बाघेलन, रामनगर, अमरपाटन एवं मझगवां सहित 5 विकासखण्डों के शिक्षकों ने हिस्सा लिया।
कमिश्नर डॉ. भार्गव ने उक्त अवसर पर शिक्षकों से संवाद स्थापित करते हुए शिक्षा की गुणात्मक स्थिति में सुधार के लिए प्रेरित किया। उन्होंने कहा कि नई ऊर्जा, नई चेतना एवं जागृति से यदि हम सब मिलकर प्रयास करेंगे तो हमें सफलता जरूर मिलेगी। उन्होंने कहा कि विद्यार्थियों के भविष्य को शिक्षा के द्वारा ही सवारा जा सकता है। शिक्षा से आत्मा की शुद्धता, विचारों की पवित्रता समाहित होती है। भारतीय परंपरा में ज्ञान को तृतीय नेत्र की संज्ञा दी गयी है। उन्होंने कहा कि सबसे पावन और महत्वपूर्ण जबावदेही आप सबकी है। बच्चे हमारे राष्ट्र की असली दौलत और परमहंस मुस्कान है। उन्हें तराशकर पूर्णता प्रदान करने के लिए हमें सौभाग्य मिला है। समाज और राष्ट्र के लिए एक अच्छी पीढ़ी का निर्माण करना आप सभी का दायित्व है। बच्चों की प्रतिभा को निखार कर, तराशकर और संवारकर उन्हें उन्हें राष्ट्र की अंगूठी का श्रेष्ठतम नगीना बनाया जा सकता है। राष्ट्र के लिए उन्हें उपयोगी बनाने के लिए हम सबको मिलकर विचार करना चाहिए।
कमिश्नर डॉ. भार्गव ने कहा कि दुनिया में समस्याएं हर जगह होती हैं लेकिन उनसे घबरा कर अपने दायित्व से विमुख नहीं होना चाहिए। बड़ी कठिनाइयों के बाद हमारे सामने अवसर आता है। हर शिक्षक को अपने विद्यार्थी को ज्ञान देने का मौका मिला है जिसका हमें जिम्मेदारी पूर्वक वखूवी निर्वहन करना चाहिए। यह अवसर निश्चित समय के लिए आता है जिसे कामयाबी में बदलने की कोशिश करें। कामयाबी को खरीदा नहीं जा सकता बल्कि पूरी लगन, मेहनत और निष्ठा से ही प्राप्त किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि समुद्र के किनारे लंगर से बंधे जहाज की सार्थकता इस बात में है कि वह ऊँची-नीची लहरों एवं तूफानों का सामना करते हुए आगे बढ़े। इसी तरह आप सभी को विषय परिस्थितियों में भी अपने विद्यार्थियों को ज्ञान देने के लिए आगे बढ़ते रहना चाहिए। शिक्षक ब्रम्हा, विष्णु एवं महेश तीनों की समन्वित भूमिका का निर्वहन करते हैं।
कमिश्नर डॉ. भार्गव ने कहा कि हर व्यक्ति के अंदर एक अच्छा शिक्षक छुपा होता है जिसे जागृत करने की जरूरत होती है। बच्चे खुशबुओं के गुलाब की तरह हैं उनका स्वभाविक विकास करना हमारा दायित्व है। बच्चों को संस्कारवान बनाने में शिक्षकों की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण है। उन्होंने कहा कि बच्चों को समय की महत्ता और अनुशासन का पाठ तभी पढ़ाया जा सकता है जब हम स्वयं उनके लिए आचरण बनें। उन्होंने कहा कि हम जैसा दूसरों से व्यवहार करते है वैसा ही व्यवहार हमें प्राप्त होता है। हम अपने होनहार विद्यार्थियों के साथ अच्छा वर्ताव कर उन्हें होनहार बनाकर अच्छी दिशा देने का बेहतर कार्य करें।
नवागत कलेक्टर सतना अजय कटेसरिया ने कहा कि मेरे सेवाकाल का ऐसा पहला अवसर है जब संभाग के कमिश्नर शैक्षणिक गुणवत्ता को सुधारने के लिए स्वयं शिक्षकों से संवाद कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि मेरी कोशिश होगी कि जिले में शैक्षणिक गुणवत्ता में बेहतर सुधार हो। हम सब एक टीम की तरह मेहनत कर जिले के हर क्षेत्र में विकास करने की कोशिश करेंगे।

संयुक्त संचालक लोक शिक्षण अंजनी कुमार त्रिपाठी ने कहा कि रीवा संभाग में खराब परीक्षा परिणाम को सुधारने के लिए कमिश्नर रीवा संभाग डॉ. भार्गव के कुशल निर्देशन में कार्य किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि 7 बिन्दुओं को शामिल करते हुए एक कार्यक्रम बनाया गया है जिसका पालन कराने की कोशिश लगातार जारी है। कार्यक्रम के अंत में प्राचार्य डाइट नीरब दीक्षित ने आभार व्यक्त किया। कार्यक्रम में सीईओ जिला पंचायत ऋजुवाफना, एसडीएम पी.एस. त्रिपाठी सहित पांच विकासखण्डों के प्रधानाध्यापक एवं शिक्षकगण उपस्थित थे। जिला शिक्षा अधिकारी टी.पी. सिंह ने जिले में शैक्षणिक गुणवत्ता की स्थिति पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि पांचवीं और आठवीं की परीक्षाएं बोर्ड पैटर्न पर आयोजित होगी जिसके लिए आवश्यक तैयारी की जा रही है।

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