संत रविदास की शिक्षा नवजीवन का संचार करने में सक्षम – मु. शिवराज सिंह
व्यक्ति जन्म से नही कर्म से महान होता है – उर्जा मंत्री राजेन्द्र शुक्ल
आगामी शिक्षण सत्र से अनुसूचित जाति के छात्रो को सरकारी कालेजो में शुल्क नही लगेगा, मैहर में आयोजित हुआ राज्य स्तरीय जयंती समारोह संत रविदास महाकुंभ, प्रतिवर्ष आयोजित होगा रविदास जयंती का महाकुंभ
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि निराश, दलित और पीड़ित वर्ग में नव-जीवन, आशा और उत्साह भरने वाले संतों में, संत शिरोमणि रविदास अग्रणी हैं। उनकी शिक्षा दिशाहीन मानव को उचित मार्ग बताने की पूरी सामर्थ्य रखती है। वे जाति-पाति, ऊँच-नीच की संकीर्ण विचारधारा को त्यागने के लिये समाज को प्रेरित कर नई दिशा देने वाले महान संत थे। मुख्यमंत्री श्री चौहान आज सतना जिले के मैहर में राज्य शासन द्वारा संत शिरोमणि रविदास जी की जयंती पर आयोजित महाकुंभ और राज्य स्तरीय जयंती समारोह को मुख्य अतिथि के रूप में सम्बोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर कहा कि संत रविदास की जयंती पर राज्य शासन द्वारा हर वर्ष महाकुम्भ का आयोजन किया जायेगा। प्रसिद्ध शारदा माता मंदिर की पहाड़ी के समीप संत रविदास आश्रम में संत रविदास जी का भव्य मंदिर बनाया जायेगा और भक्त श्रद्धालुओं के लिये सर्वसुविधायुक्त सामुदायिक भवन आश्रय केन्द्र बनाया जायेगा। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर कहा कि अगले शैक्षणिक सत्र से अनुसूचित जाति के छात्रो को सरकारी कालेजो में कोई फीस नही देनी होगी। तकनीकी और मेडीकल कालेजो में भी पढने वाले छात्रो की फीस सरकार भरेगीं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश के चयनित स्थानों पर संत रविदास श्रद्धा केंद्र स्थापित होंगे। जहां संत के साहित्य को रखा जायेगा। मुख्यमंत्री ने दो पुरस्कारों की घोषणा भी की। उन्होंने कहा कि अनुसूचित जाति वर्ग के सफल उद्यमियों को पांच लाख रूपये का संत रविदास कर्मठ उद्यमी पुरस्कार दिया जायेगा। इसी तरह सभी वर्गों के लिये दो लाख रूपये के सामाजिक समरसता पुरस्कार प्रारंभ करने की घोषणा भी की।
मुख्यमंत्री ने अनुसूचित जाति वर्ग के लिये शासन की योजनाओं का उल्लेख करते हुए कहा कि आगामी शिक्षण सत्र से अनुसूचित जाति के छात्र-छात्राओं को प्रदेश के सभी शासकीय महाविद्यालयों में निःशुल्क महाविद्यालयीन शिक्षा दी जायेगी, उनसे शिक्षण शुल्क नहीं लिया जायेगा।
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने संत शिरोमणि संत रविदास के जीवन और उनके दर्शन का उल्लेख करते हुए कहा कि संत रविदास ने कहा था कि सभी व्यक्तियों को अन्न मिलना चाहिये और बिना किसी भेदभाव के सामाजिक समरसता स्थापित होनी चाहिये। पंडित दीनदयाल उपाध्याय का भी यही मत था। मध्यप्रदेश सरकार ने दोनों महापुरूषों की शिक्षाओं को अमल में लाने का पूरा प्रयास किया है। प्रदेश में सभी गरीबों और अनुसूचित जाति जनजाति के सभी परिवारों को एक रूपया किलो गेहूं, चावल एवं नमक का प्रदाय राशन दुकान से किया जाता है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि गरीबी रेखा के नीचे की सूची में नाम शामिल कराने से छूट गये गरीब परिवारों एवं व्यक्तियों के नाम मैहर में अभियान चला कर शामिल किये गये थे। मैहर माडल को पूरे प्रदेश में लागू किया जायेगा। उन्होंने कहा जो गरीब परिवार जिस शासकीय भूमि में कई वर्षों से अस्थायी आवास बना कर रह रहा है उसे उस जमीन का आवासीय पट्टा दिया जायेगा। इतना ही नहीं उन्हें स्वयं का मकान बनाने के लिये सरकार मदद देगी। सन् 2022 तक कोई भी गरीब बिना मकान के नहीं रहेगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि अनुसूचित जाति वर्ग के विद्यार्थियों के लिये हर सम्भाग में ज्ञानोदय विद्यालय खोले जायेंगे। मुख्यमंत्री ने भोपाल स्थित ज्ञानोदय विद्यालय के उत्कृष्ठ परिक्षा परिणाम की चर्चा की। मुख्यमंत्री ने बच्चों को पढ़ाने लिखाने के लिये प्रेरित किया तथा कहा कि बच्चों को बिना किसी चिंता पढ़ायें। अध्ययन तथा व्यवसाय, उद्योग स्थापना के लिये मप्र. सरकार की योजनायें सहयोग प्रदान करेगीं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि उ.प्र. के बनारस में संत रविदास जी का जन्म हुआ था। उनके जन्म स्थान को राज्य शासन ने मुख्यमंत्री तीर्थ दर्शन योजना के तहत तीर्थ स्थान में शामिल कर लिया था। अब विशेष ट्रेन बनारस भेजी जायेगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि मैहर को मिनी स्मार्ट सिटी बनाया जायेगा। इसके लिये प्रथम चरण में 25 करोड़ रूपये दिये जा रहे है। मैहर नगर पालिका क्षेत्र में सीवरेज निर्माण के लिये 42 करोड़ रूपये दिये जायेगें। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार पूरे प्रदेश में पेयजल आपूर्ति के लिये युद्ध स्तर पर अभियान के रूप में कार्य करेगी। हैण्डपम्प से पानी निकालने आवश्यकतानुसार मोटर लगाई जायेगी। यदि फिर भी पेयजल आपूर्ति सुलभ नही होती है तो परिवहन द्वारा पेयजल उपलब्ध कराया जायेगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि मैहर नगर की जल आवर्धन योजना के तहत 35 करोड़ रूपये उपलब्ध कराये जायेगें। मुख्यमंत्री ने कहा मैहर क्षेत्र में वाणसागर का पानी सिचाई के लिये दो बार लिफ्ट कर लाया जायेगा। सिंचाई के लिये बरगी जलाशय का पानी भी लाया जायेगा। प्रत्येक ग्राम की बुनियादी समस्याओ का निराकरण प्राथमिकता से किया जायेगा। अधिक राशि के बिजली बिलो के शिकायतो के निराकरण के लिये स्थान-स्थान पर शिविर लगाये जायेगें। उन्होने कहा कि गरीबो के लिये 50 करोड़ रूपये आवासीय मकान बनाने के लिये दिये जायेगें। मुख्यमंत्री ने संत रविदास के बताये मार्गो पर चलकर सामाजिक समरसता लाने के साथ मैहर सतना तथा मध्यप्रदेश का सर्वागींण विकास कर उसे नम्बर एक बनाने का संकल्प दिलाया। उन्होने हर घर में शौचालय निर्माण का अभियान चलाकर पूरा करने का संकल्प भी दिलाया।