नागरिकता संशोधन विधेयक को मंज़ूरी
केंद्रीय मंत्रिमंडल ने सोमवार को बांग्लादेश, अफगानिस्तान और पाकिस्तान के गैर मुस्लिमों को भारतीय नागरिकता प्रदान करने के लिए नागरिकता संशोधन विधेयक को मंजूरी दे दी| इसका मसौदा दोबारा तैयार किया गया है| सूत्रों के मुताबिक इसे मंगलवार को लोकसभा में रखे जाने की उम्मीद है|
इस कदम को उठाए जाने से कुछ घंटे पहले ही विधेयक का परीक्षण करने वाली संयुक्त संसदीय समिति ने लोकसभा में अपनी रिपोर्ट पेश की थी| यह विधेयक 2016 में पहली बार पेश किया गया था|
नया विधेयक नागरिकता कानून, 1955 में संशोधन के लिए लाया गया है| यह विधेयक कानून बनने के बाद, अफगानिस्तान, बांग्लादेश और पाकिस्तान के हिन्दू, सिख, बौद्ध, जैन, पारसी और ईसाई धर्म के मानने वाले अल्पसंख्यक समुदाय को 12 साल के बजाय छह साल भारत में गुजारने पर और बिना उचित दस्तावेजों के भी भारतीय नागरिकता प्रदान करेगा|